Description
1. वजन घटाने में लाभदायक
बेनिफिट्स ऑफ क्विनोआ बढ़ते वजन या मोटापे की समस्या से ग्रस्त लोगों के लिए भी कारगर साबित हो सकते हैं। इसका सेवन इस समस्या को काफी हद तक नियंत्रित करने में मदद कर सकता है। यह बात जर्नल ऑफ न्यूट्रिशन एंड फूड साइंस द्वारा किए गए एक शोध से सिद्ध होती है। शोध में माना गया है कि क्विनोआ एक ऐसा खाद्य पदार्थ है, जिसमें बीटाइन (Betaine) नाम का एक खास तत्व पाया जाता है। यह तत्व मोटापे की समस्या को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है (2)। इसके अलावा क्विनोआ एक संपूर्ण प्रोटीन है, जो मेटाबॉलिज्म को बढ़ावा देता है। साथ ही इसमें मौजूद हाई फाइबर पेट को लंबे समय तक भरे रख सकता है औऱ ग्लिसेमिक इंडेक्स लो होने की वजह से क्विनोआ को हेल्दी वेट लॉस डाइट में जरूर शामिल करना चाहिए।
2. स्वस्थ ह्रदय/कोलेस्ट्रॉल
हृदय स्वास्थ्य के लिए भी क्विनोवा को उपयोगी माना जा सकता है। इस बात की पुष्टि क्वीनोवा से संबंधित एक शोध से भी मिलती है। शोध में जिक्र मिलता है कि क्वीनोवा में ट्राइग्लिसराइड सीरम को कम करने का प्रभाव मौजूद होता है। वहीं, शोध में यह भी माना गया है कि ट्राइग्लिसराइड कम करके हृदय संबंधित जोखिम को कम किया जा सकता है (3)। वहीं, दूसरी ओर क्वीनोआ पोटेशियम से भी समृद्ध होता है, जो हृदय की धड़कन को नियंत्रित रखने के लिए अहम माना जाता है। इसके साथ ही यह गुड कोलेस्ट्रोल को बढ़ाने का काम भी कर सकता है (4)। इस आधार पर हृदय के लिए क्विनोआ लाभ सहायक माने जा सकते हैं।
3. डायबिटीज और बीपी
मधुमेह की समस्या एक गंभीर शारीरिक बीमारी है, जिसके अंतर्गत रक्त वाहिकाओं में शर्करा की मात्रा अत्यधिक हो जाती है। अगर इसे समय पर नियंत्रित नहीं किया जाए, तो कई घातक परिणामों का सामना करना पड़ सकता है। क्विनोआ एक साबुत अनाज है, जो मधुमेह के लिए काफी फायदेमंद माना गया है। इस बात का जिक्र एनसीबीआई (National Center for Biotechnology Information) के एक शोध में भी मिलता है। शोध में माना गया है कि क्विनोवा का सुबह और दोपहर के समय सेवन करने से टाइप-2 डायबिटीज के रोगियों को लाभ मिल सकता है। यह शरीर में इन्सुलिन की सक्रियता को बढ़ाकर ब्लड शुगर को कम करने में मदद कर सकता है
4. सूजन को कम करें
क्विनोआ लाभ सूजन को कम करने में भी मददगार साबित हो सकता है। यह बात क्वीनोआ से संबंधित एक शोध में स्पष्ट रूप से स्वीकार की गई है। शोध में जिक्र मिलता है कि क्वीनोआ में सैपोनिन्स नाम का एक खास तत्व पाया जाता है। यह तत्व एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण से समृद्ध होता है (7)। यही वजह है कि हल्की और सामान्य सूजन से राहत पाने के लिए क्वीनोआ को एक घरेलू उपचार के तौर पर इस्तेमाल में लाया जा सकता है।
5. पाचन के लिए लाभदायक
अन्य समस्याओं के साथ ही क्विनोआ बेनिफिट्स पाचन स्वास्थ्य को बनाए रखने में भी कारगर साबित हो सकते हैं। क्वीनोवा के स्वास्थ्य संबंधी फायदों से जुड़े एक शोध में इस बात का जिक्र मिलता है। शोध में माना गया कि इसमें ट्रिप्सिन इन्हिबिटर्स (ट्रिप्सिन – एक प्रकार का एंजाइम) कम मात्रा में उपलब्ध होते हैं। वहीं, यह भी बताया गया है कि यह ट्रिप्सिन इन्हिबिटर्स प्रोटीन के पाचन और अवशोषण को बाधित करने का काम करते हैं। वहीं, दूसरी ओर इसमें मौजूद फाइबर आंत में मौजूद अच्छे बैक्टीरिया को बढ़ावा देने का कम करते हैं, जो पाचन में सहायक होते हैं (8)। इस आधार पर माना जा सकता है कि पाचन स्वास्थ्य को बनाए रखने में भी क्वीनोआ लाभकारी साबित हो सकता है। वहीं, क्विनोआ एक ग्लूटेन फ्री फूड है इसलिए जिन लोगों को ग्लूटेन एलर्जी होती है,वो लोग क्विनोआ को अपने आहार में शामिल कर सकते हैं।
6. मेटाबॉलिज्म में सुधार
पाचन के साथ ही क्वीनोआ विभिन्न उपापचय प्रक्रियों को भी बढ़ावा देने का भी काम कर सकता है, जो शरीर को पर्याप्त ऊर्जा और पोषण प्रदान करने में अहम भूमिका अदा करती हैं। इस काम में क्वीनोआ में मौजूद अमीनो एसिड, कार्बोहाइड्रेट, लिपिड और मैक्रोन्यूट्रिएंट्स सहायक हो सकते हैं (8)। इस आधार पर यह कहा जा सकता है कि क्विनोआ लाभ मेटाबॉलिज्म में सुधार के लिए भी उपयोगी हो सकते हैं।
7. एनीमिया (खून की कमी)
एनीमिया की समस्या से ग्रस्त व्यक्तियों के लिए भी क्वीनोआ एक बेहतर विकल्प साबित हो सकता है। चूहों पर आधारित क्वीनोआ पर किए गए एनसीबीआई के एक शोध में इस बात को साफ तौर पर स्वीकार किया गया है। शोध में जिक्र मिलता है कि आयरन से भरपूर क्वीनोआ के बीज में एंटीएनेमेटिक (एनीमिया को ठीक करने वाला) प्रभाव पाया जाता है। इस कारण यह हीमोग्लोबिन को बढ़ाकर एनीमिया से राहत दिलाने में मदद कर सकता है (9)। ऐसे में क्विनोआ बेनिफिट्स एनीमिया में लाभदायक माने जा सकते हैं।
8. कैंसर से बचाव के लिए
कैंसर जैसी घातक बीमारी से बचाव में भी क्वीनोआ को उपयोग में लाया जा सकता है। क्वीनोआ से जुड़े एनसीबीआई के एक शोध में इस बात का जिक्र मिलता है। शोध में माना गया है कि क्वीनोआ के बीज में एंटीकैंसर (कैंसर कोशिका के विकास को रोकने वाला) प्रभाव पाया जाता है। यह प्रभाव मुख्य रूप से लिवर और स्तन कैंसर के खिलाफ बेहतर काम कर सकता है (10)। वहीं, पाठक इस बात का ध्यान जरूर रखें कि क्वीनोआ किसी भी तरीके से कैंसर का इलाज नहीं है। यह केवल इससे बचाव में कुछ हद तक मददगार हो सकता है। इसलिए, कैंसर के इलाज के लिए डॉक्टर से सलाह लेना अतिआवश्यक है।
9. स्वस्थ त्वचा के लिए
त्वचा को स्वस्थ बनाए रखने में भी क्विनोआ लाभ मददगार हो सकते हैं। क्वीनोआ से संबंधित एनसीबीआई के एक शोध में इस बात का स्पष्ट जिक्र मिलता है। शोध में माना गया है कि क्वीनोआ में मौजूद सैपोनिंस इस काम में अहम भूमिका निभा सकते हैं। इनकी मौजूदगी के कारण क्वीनोआ का अर्क त्वचा में आसानी से अवशोषित हो सकता है और त्वचा की प्राकृतिक लोचता को बरकरार रखने में मदद कर सकता है (11)। वहीं, विटामिन बी 2 ऊर्जा चयापचय (metabolism) में सुधार कर सकता है। इस आधार पर माना जा सकता है कि त्वचा को स्वस्थ बनाए रखने में क्वीनोआ मददगार साबित हो सकता है।
10. हड्डियों को मजबूत कर ऑस्टियोपोरोसिस से बचाए
ऑस्टियोपोरोसिस एक ऐसी समस्या जिसमें व्यक्ति की हड्डियां कमजोर हो जाती है। इस समस्या से राहत पाने में क्विनोआ बेनिफिट्स मददगार हो सकते हैं। इस बात का प्रमाण हड्डियों से संबंधित एक शोध में मिलता है। शोध में माना गया है कि क्वीनोआ में बीटा- इक्डीसोन (Ecdysone) नाम का एक फाइटोएसिडिस्टेरॉयड पाया जाता है। यह फाइटोएकडिस्टेरॉइड्स (Phytoecdysteroids) हड्डियों के घनत्व को बढ़ाकर उन्हें मजबूती प्रदान करने में सहायक हो सकता है (12)। इस आधार पर माना जा सकता है कि हड्डियों को मजबूती प्रदान कर ऑस्टियोपोरोसिस की समस्या से राहत पाने में क्वीनोआ सहायक हो सकता है।